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अग्रवाल समाज 2, जुलाई को रहेगा धार्मिक स्थलों की यात्रा पर
तिरुपति बालाजी मंदिर, अग्र विभूति स्मारक व अग्रोहा धाम की करेगा यात्रा
ग्रामीण संस्कृति व प्राचीन परंपराओं से जुड़े हेरिटेज विलेज का भी लेगा आनंद

खबर वाहिनी न्यूज (जींद) : अखिल भारतीय अग्रवाल समाज जिला जीन्द के पदाधिकारियों का एक शिष्टमंडल 2 जुलाई को सपरिवार धार्मिक स्थलों की यात्रा पर रहेगा। इस दौरान शिष्टमंडल तिरुपति बालाजी मंदिर हिसार, अग्र विभूति स्मारक अग्रोहा व अग्रोहा धाम इत्यादि स्थलों के दर्शन करेगा साथ ही हिसार स्थित ग्रामीण संस्कृति व प्राचीन परंपराओं से जुड़े हेरिटेज विलेज का भी आनंद लेगा।

अग्रवाल समाज के अध्यक्ष राजकुमार गोयल का कहना है कि उनकी संस्था समय समय पर धार्मिक व ऐतिहासिक स्थलों की यात्रा करती रहती है। इसी कड़ी में 2 जुलाई को एक दिवसीय हिसार, अग्रोहा व आस पास के क्षेत्रों की यात्रा का कार्यक्रम है। इस कार्यक्रम के तहत हिसार में नए बने तिरुपति बालाजी मंदिर के दर्शनों का कार्यक्रम है। यह मंदिर आंध्र प्रदेश के तिरुपति बालाजी मंदिर जैसा बनाया गया है। करीबन ढाई एकड़ जगह में बनाए गए इस मंदिर में सोने का खंभा बनाया है जो आकर्षण का केन्द्र है। इसे देखने के लिए विभिन्न राज्यों से हजारों श्रद्धालु पहुंच रहे है। यह खंभा 42 फुट लम्बा है। इस खंभे पर भगवान गरुड़ की प्रतिमा लगाई गई है। मुख्य मंदिर में विष्णु जी के स्वरूप भगवान वेंकटेश्वर की प्रतिमा स्थापित है। इसके साथ ही मां पद्मावती, गोदामा मां व भगवान गरुड़ का मंदिर भी बनाया गया है। मंदिर में लगा सारा ग्रेनाइट तिरुपति से ही मंगवाया गया है। वहां के कारीगरों ने ही इस मंदिर का निर्माण किया है जिसे बनाने में करीबन 5 साल लगे है। मंदिर की एक विशेषता यह भी है कि इसमें न तो कोई पाईप लगाई गई न ही सरिये का उपयोग हुआ और न ही वायरिंग की गई। मंदिर की आयु 10 हजार वर्ष है। गोयल का कहना है कि अग्रवाल समाज का शिष्ट मंडल सपरिवार इस मंदिर का दर्शन करेगा।

राजकुमार गोयल ने बताया है कि उसके बाद अग्रोहा धाम की यात्रा की जाएगी। यह धाम महाभारत काल से जुडा है। महाभारत युद्ध के पश्चात महाराजा अग्रसेन द्वारा अग्रोहा को अपनी राजधानी बनाया गया। अब यहा राष्ट्रीय स्थल का पावन धाम बन चुका है। पूरे देश से हजारों लोग यहा दर्शनों के लिए आते है। अग्रोहा धाम में काफी दर्शनीय स्थल है। यहां जमीन के 15 फीट नीचे मां वैष्णो देवी की गुफा बनाई गई है जो देखने योग्य है। इसके साथ साथ हनुमान जी की 90 फुट ऊंची प्रतिमा, महाराजा अग्रसेन जी का मंदिर, मां कुलदेवी लक्ष्मी का मंदिर भी दर्शनीय योग्य है। अग्रोहा धाम के दर्शनों के उपरांत अग्रवाल समाज का शिष्टमंडल अग्र विभूति स्मारक के दर्शन करेगा। इस स्मारक में देश के ऐसे शहीदों, महपुरूषों, स्वतंत्रता सेनानियों की प्रतिमाएं स्थापित है जिन्होंने देश के लिए अपना जीवन समर्पित कर दिया। यहां अग्र सरोवर भी बनाया गया है जिसमें 118 तीर्थों का पवित्र जल समाहित है। इसके साथ साथ अग्रवाल समाज हिसार स्थित हेरिटेज विलेज का भी आनंद लेगा। यहां ग्रामीण संस्कृति व प्राचीन परंपराओं की झलक देखने को मिलेगी। इसके साथ साथ यहां वाटर पार्क व विभिन्न तरह के झूलो इत्यादि का आनंद भी लिया जाएगा।

अखिल भारतीय अग्रवाल समाज जिला जीन्द के पदाधिकारियों का एक शिष्टमंडल 2 जुलाई को सपरिवार धार्मिक स्थलों की यात्रा पर रहेगा। इस दौरान शिष्टमंडल तिरुपति बालाजी मंदिर हिसार, अग्र विभूति स्मारक अग्रोहा व अग्रोहा धाम इत्यादि स्थलों के दर्शन करेगा साथ ही हिसार स्थित ग्रामीण संस्कृति व प्राचीन परंपराओं से जुड़े हेरिटेज विलेज का भी आनंद लेगा।
अग्रवाल समाज के अध्यक्ष राजकुमार गोयल का कहना है कि उनकी संस्था समय समय पर धार्मिक व ऐतिहासिक स्थलों की यात्रा करती रहती है। इसी कड़ी में 2 जुलाई को एक दिवसीय हिसार, अग्रोहा व आस पास के क्षेत्रों की यात्रा का कार्यक्रम है। इस कार्यक्रम के तहत हिसार में नए बने तिरुपति बालाजी मंदिर के दर्शनों का कार्यक्रम है। यह मंदिर आंध्र प्रदेश के तिरुपति बालाजी मंदिर जैसा बनाया गया है। करीबन ढाई एकड़ जगह में बनाए गए इस मंदिर में सोने का खंभा बनाया है जो आकर्षण का केन्द्र है। इसे देखने के लिए विभिन्न राज्यों से हजारों श्रद्धालु पहुंच रहे है। यह खंभा 42 फुट लम्बा है। इस खंभे पर भगवान गरुड़ की प्रतिमा लगाई गई है। मुख्य मंदिर में विष्णु जी के स्वरूप भगवान वेंकटेश्वर की प्रतिमा स्थापित है। इसके साथ ही मां पद्मावती, गोदामा मां व भगवान गरुड़ का मंदिर भी बनाया गया है। मंदिर में लगा सारा ग्रेनाइट तिरुपति से ही मंगवाया गया है। वहां के कारीगरों ने ही इस मंदिर का निर्माण किया है जिसे बनाने में करीबन 5 साल लगे है। मंदिर की एक विशेषता यह भी है कि इसमें न तो कोई पाईप लगाई गई न ही सरिये का उपयोग हुआ और न ही वायरिंग की गई। मंदिर की आयु 10 हजार वर्ष है। गोयल का कहना है कि अग्रवाल समाज का शिष्ट मंडल सपरिवार इस मंदिर का दर्शन करेगा ।

राजकुमार गोयल ने बताया कि उसके बाद अग्रोहा धाम की यात्रा की जाएगी। यह धाम महाभारत काल से जुडा है। महाभारत युद्ध के पश्चात महाराजा अग्रसेन द्वारा अग्रोहा को अपनी राजधानी बनाया गया। अब यहा राष्ट्रीय स्थल का पावन धाम बन चुका है। पूरे देश से हजारों लोग यहा दर्शनों के लिए आते है। अग्रोहा धाम में काफी दर्शनीय स्थल है। यहां जमीन के 15 फीट नीचे मां वैष्णो देवी की गुफा बनाई गई है जो देखने योग्य है। इसके साथ साथ हनुमान जी की 90 फुट ऊंची प्रतिमा, महाराजा अग्रसेन जी का मंदिर, मां कुलदेवी लक्ष्मी का मंदिर भी दर्शनीय योग्य है।

अग्रोहा धाम के दर्शनों के उपरांत अग्रवाल समाज का शिष्टमंडल अग्र विभूति स्मारक के दर्शन करेगा। इस स्मारक में देश के ऐसे शहीदों, महपुरूषों, स्वतंत्रता सेनानियों की प्रतिमाएं स्थापित है जिन्होंने देश के लिए अपना जीवन समर्पित कर दिया। यहां अग्र सरोवर भी बनाया गया है जिसमें 118 तीर्थों का पवित्र जल समाहित है। इसके साथ साथ अग्रवाल समाज हिसार स्थित हेरिटेज विलेज का भी आनंद लेगा। यहां ग्रामीण संस्कृति व प्राचीन परंपराओं की झलक देखने को मिलेगी। इसके साथ साथ यहां वाटर पार्क व विभिन्न तरह के झूलो इत्यादि का आनंद भी लिया जाएगा।

Khabar Vahini
Author: Khabar Vahini

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